उसके अवचेतन मन ने किस तरह प्रतिक्रिया की|

भाग – 13

नमस्कार दोस्तों , पिछले भाग में हमने चेतन और अवचेतन मन के कार्यविधि में अंतर जाना था। इस भाग में भी हम अवचेतन मन किस तरह प्रतिक्रिया करता है जानेंगे।

लेखक एक बुजुर्ग महिला के बारे में बताते हैं कि कुछ महीने पहले मुझे रुथ ए नामक महिला का पत्र मिला ,जिसने मेरे भाषण सुने थे। उसने लिखा था ;

में पचहत्तर साल की विधवा हूँ। मेरे बच्चे बड़े होने के बाद बाहर चले गए थे। में अकेली रह रही थी और सोशल सिक्युरिटी तथा थोड़ी सी पेंशन पर गुजारा कर रही थी.मेरा जीवन बहुत ही सूना और निराशाजनक था। फिर मुझे अवचेतन मन की शक्तियों पर आपका भाषण याद आया। आपने कहा था कि दोहराव ,आस्था और उम्मीद के जरिये हम आपने विचार अवचेतन मन तक पहुँचा सकते हैं। क्या यह सच हो सकता है ? मैने आजमाने का फैसला किया। मेरे पास खोने के लिए कुछ नही था।

में बार -बार पूरी भावना से दोहराने लगी ,”कोई मुझे चाहता है कोई मुझसे प्यार करता हे। में शादी शुदा हूँ और मेरा पति दयालु ,प्रेमपूर्ण तथा आध्यात्मिक मानसिकता वाला है। मै सुरक्षित और सुखी हूँ। ”

मैं लगभग दो हफ्ते तक हर दिन यह बात कई बार दोहराती रही। एक दिन नुक्कड़ वाली दवाई की दुकान पर एक रिटायर्ड फार्मासिस्ट से मेरी मुलाकात हुई। ये दयालु,समझदार और बहुत धार्मिक थे। वे मेरी प्रार्थना का आदर्श जवाब थे। एक हफ़्ते के भीतर ही उन्होंने मेरे सामने शादी का प्रस्ताव रख दिया। इस समय हम यूरोप में हनीमून मना रहे हैं। मैं जानती हूँ कि मेरे अवचेतन मन की बुद्धिमत्ता ही हम दोनों को इतने करीब लाई थी। रूथ ने पाया की ख़जाना उसी के भीतर था। उसकी प्रार्थना उसके दिल को सच्ची लगी और उसकी सकारात्मकता उसके अवचेतन मन में उतर गई , जो रचनात्मक साधन है। जिस पल उसने दृढ़ता से यह तस्वीर देखि , उसके अवचेतन मन ने आकर्षण के नियम द्वारा जवाब खोज लिया। बुद्धिमानी और समझदारी से भरा अवचेतन मन और उसके नए पति को एक साथ ले आया।

आप इस बारे में जरूर सोचें :

जो भी चीज़ें सच्ची हैं , जो भी चीज़ें ईमानदार हैं , जो भी चीज़ें न्यायपूर्ण है , जो भी चीज़ें शुद्ध हैं , जो भी चीजें प्यारी हैं , जो भी चीजे अच्छी हैं , अगर कोई आस्था है और अगर कोई प्रशंसा है , तो इन चीज़ों के बारे में सोचें।

याद रखने लायक़ विचार

1 . ख़जाना आपके भीतर है। अपनी दिल की इच्छा का जवाब भीतर खोजें।

2 . सभी युगों के महान व्यक्तियों का महान रहस्य यह था कि उनमें अपने अवचेतन मन की शक्तियों से संपर्क करने और उन्हें मुक्त करने की प्रतिभा थी। आप भी ऐसा ही कर सकते हैं।

3 . आपके अवचेतन मन के पास सारी समस्याओं के जवाब हैं। अगर आप सोने से पहले अवचेतन मन से कहें , “मैं सुबह 6 बजे उठना चाहता हूँ ,” तो यह आपको यहिक उसी समय जगा देगा।

4 . आपका अवचेतन मन आपके शरीर का निर्माता है और आपका उपचार कर सकता है। हर रात आदर्श सेहत के विचार के साथ सोने जाएँ और आपका वफ़ादार सेवक यानी अवचेतन मन आपके आदेश का पालन करेगा।

5 . हर विचार एक कारण है और हर परिस्थिति एक परिणाम है।

6 . अगर आप पुस्तक लिखना चाहते हैं , बढियां नाटक लिखना चाहते हैं , अपने श्रोताओं के सामने बेहतर भाषण देना चाहते हैं , तो यह विचार भावना और प्रेम के साथ अपने अवचेतन मन तक पहुँचा दें। वह इस पर इसी अनुरूप प्रतिक्रिया करेगा।

7 .आप जहाज़ के कप्तान की तरह है। आपको सही निर्देश देने होंगे ,वरना जहाज़ दुर्घटनाग्रस्त हो जाएगा। इसी तरह से आपको अपने अवचेतन मन को सही आदेश (विचार और तस्वीरें) देने होंगे ,जो आपके सभी अनुभवों को नियंत्रित करता है।

8 .इस तरह के वाक्यों का प्रयोग कभी न करे ,”मेरे पास इसके लिए पैसे नही है। ”या ”मैं यह काम नहीं कर सकता। ”आप जो सोचते है ,आपका अवचेतन मन उसी बात को सच समझ लेता है। वह यह सुनिशित करता है कि आपके पास कभी पैसा न रहे या वह काम करने की क्षमता न रहे ,जो आप करना चाहते है। इसके बजाय दृंढ़ता से कहे ,”में अपने अवचेतन मन की शक्ति से सारे काम कर सकता हूँ। ”

9 .जीवन का नियम विश्वास का नियम है। विश्वास आपके मस्तिष्क का एक विचार है। उन चीजों में विश्वास न करे ,जो आपको नुकसान या चोट पहुंचाए। अपने अवचेतन की शक्तियों में विश्वास करे। यह विश्वास रखे कि वे आपका उपचार करेगी ,शक्तिशाली और समृद्ध बनाएगी। आपके विश्वास के अनुरूप ही आपको मिलेगा।

10 .अपने विचारो को बदल ले , आपकी तक़दीर खुदबखुद बदल जाएगी। ……..continue……..भाग – 14

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